हिंदू धर्म में कुल चार बार नवरात्रि का त्योहार आता है। जिनमें से दो सामान्य नवरात्रि और दो गुप्त नवरात्रि होते है। इसमें से सामान्य नवरात्रि को बहुत ही धूमधाम के साथ मनाया जाता है। वहीं गुप्त नवरात्रि का भी उतना ही महत्व है लेकिन इन्हें कुछ ही लोग मनाते हैं। गुप्त नवरात्रि को लेकर मान्यता है कि इन्हें जितना गुप्त रखा जाता है मां भगवती उतनी ही प्रसन्न होती हैं। और साथ ही गुप्त नवरात्रि में सिद्धि प्राप्ति के लिये तांत्रिक पूजा भी की जाती है।
गुप्त नवरात्र 2023 में कब से हैं?
2023 के पहले गुप्त नवरात्रे 22 जनवरी से शुरू हो रहे हैं और 30 जनवरी को समाप्त होंगे। कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त 22 जनवरी को सुबह 08:34 से लेकर 09:59 तक है।
तिथि | देवी की पूजा | तारीख |
प्रतिपदा | मां शैलपुत्री की पूजा | 22 जनवरी |
द्वितीया | मां ब्रह्मचारिणी की पूजा | 23 जनवरी |
तृतीया | मां चंद्रघंटा की पूजा | 24 जनवरी |
चतुर्थी | मां कुष्मांडा की पूजा | 25 जनवरी |
पंचमी | मां स्कंद माता की पूजा | 26 जनवरी |
षष्ठी | मां कात्यायनी की पूजा | 27 जनवरी |
सप्तमी | मां कालरात्रि की पूजा | 28 जनवरी |
अष्टमी | मां महागौरी की पूजा | 29 जनवरी |
नवमी | मां सिद्धिदात्री की पूजा | 30 जनवरी |
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